चकिया।कहीं लटक रहा ताला, कहीं दरवाजा नहीं तो कहीं पानी टंकी नदारद, सामुदायिक शौचालयों का हाल खराब,खुले में शौच करने को मजबूर ग्रामीण,केयर टेकर हर माह ले रहे मानदेय

संवाददाता कार्तिकेय पाण्डेय
चकिया।विकास खंड के ग्राम पंचायतों में सामुदायिक शौचालयों का निर्माण कराया गया है। लेकिन ग्रामीण खुले में शौच करने के लिए मजबूर हैं। कारण है कि अधिकांश ग्राम पंचायतों में सामुदायिक शौचालयों में ताला बंद है। ऐसे में शौचालय शो-पीस बनकर रह गए हैं। स्वच्छ भारत मिशन के तहत ब्लाक क्षेत्र के बनाए गए सामुदायिक शौचालयों में ताले लटक रहे हैं। इनके रखरखाव के नाम पर हर महीने हजारों रुपये खर्च किए जाते हैं, लेकिन अफसरों को कोई परवाह नहीं है।

चकिया विकास खंड के गोगहरा, बलिया कला,बलिया खुर्द, हेतिमपुर,नेवाजगंज, शिकारगंज,भलुआ बिलौड़ी,विजयपुरवा,बुढ़वल आदि समेत तमाम सभी ग्राम पंचायतों में निर्मित सामुदायिक शौचालय पूरी तरह से तालाबंदी के शिकार होकर रह गए हैं। सामुदायिक शौचालय स्वच्छता अभियान की सरकारी मंशा को तार-तार कर रहे हैं। विकास खंड क्षेत्र की सभी ग्राम पंचायतों सामुदायिक शौचालयों का निर्माण कागजों में पूर्ण कर शौचालय केयरटेकर को सौंप दिया गया है। लेकिन सामुदायिक शौचालयों का संचालन न किए जाने से ग्रामीण चाह कर भी सामुदायिक शौचालय का प्रयोग नहीं कर पा रहे हैं। सामुदायिक शौचालय की तालाबंदी के कारण जरूरतमंद ग्रामीणों को शौच के लिए खुले में जाना पड़ रहा है। जिससे गांवों में गंदगी फैल रही है। इतना ही नहीं सभी ग्राम पंचायतों में सामुदायिक शौचालयों का संचालन समूह के नाम पर हर महीने केयरटेकर को 6000 रूपए तथा शौचालय की साफ सफाई के लिए जरूरी सामानों की खरीदारी के नाम पर हर महीने 3000 रूपए का भुगतान भी होता है। कुल मिलाकर सामुदायिक शौचालय का बगैर संचालन किए ही संचालन की कागजी कार्रवाई पूरी की जा रही है। ग्रामीणों का कहना है कि जिम्मेदारों द्वारा कार्रवाई न होने के चलते सामुदायिक शौचालय के संचालन को लेकर जिम्मेदार मनमानी कर रहे हैं। ग्रामीणों ने गांवों में निर्मित सामुदायिक शौचालयों में लगे ताले को खुलवाकर उसका ठीक प्रकार से संचालन करने की मांग अधिकारियों से की है।

इस संबंध में एडीओ पंचायत एनडी तिवारी ने बताया कि सभी निर्मित शौचालय का संचालन करने के लिए सामुदायिक शौचालय महिला समूहों को हैंडओवर किये जा चुके हैं। शौचालय में तालाबंदी के बारे में जानकारी नहीं है। जांच करवाई जाएगी। जांच में अगर सामुदायिक शौचालय में तालाबंदी मिली तो ग्राम पंचायत के सभी जिम्मेदारों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।